विशेष ब्यूरो बिहार दिवाकर पाण्डेय की रिपोर्ट :
यह लापरवाही नामी गिरामी निर्माण एजेंसियों द्वारा भी की गई
उन्हें मानक के अनुसार काम करना था लेकिन जैसे-तैसे सड़क की मरम्मत कर छोड़ दी गई है
न्यूज डेस्क, राजधानी पटना
दिवाकर पाण्डेय
– अमिट लेख
पटना, (ए.एल.न्यूज़)। सीवर और गैस पाइपलाइन समेत अन्य कार्यों के लिए समय-समय पर शहर की सड़कों की खुदाई करने के बाद अच्छे से उसकी मरम्मत नहीं की गई। इसके कारण ज्यादातर सड़कें साल के अंदर ही जर्जर हो गई। यह लापरवाही नामी गिरामी निर्माण एजेंसियों द्वारा भी की गई। उन्हें मानक के अनुसार काम करना था लेकिन जैसे-तैसे सड़क की मरम्मत कर छोड़ दी गई है।
नगर विकास एवं आवास विभाग के प्रधान सचिव आनंद किशोर के निर्देश पर नगर निगम और बुडको के अधिकारियों ने सड़कों का निरीक्षण किया तो यह बात सामने आई।
कंकड़बाग और राजेंद्र नगर में सीवर पाइप लाइन के लिए खोदी गई सड़कों की स्थिति देखकर जांच अधिकारी भी हैरान है। उनका कहना है कि सड़क की खुदाई करने के बाद मरम्मत में पहले जैसी स्थिति नहीं होती है, लेकिन इतनी भी खराब स्थिति नहीं होनी चाहिए कि सड़क तुरंत जर्जर हो जाए। कंकड़बाग के ज्यादातर इलाके में ऐसी स्थिति पाई गई है। राजेंद्र नगर की पुरानी कॉलोनी में भी ऐसी स्थिति है। शास्त्री नगर क्षेत्र में पटेल नगर और गांधी मूर्ति के पास भी ठीक से मरम्मत नहीं की गयी है। अशोक राजपथ और बांकीपुर क्षेत्र में सड़कों की संतोषजनक स्थिति नहीं है। बुडको के परियोजना निदेशक उमेश कुमार का कहना है कि देश की बड़ी-बड़ी कंपनियां सीवर और गैस पाइपलाइन के लिए चयनित की गई थी उनके पास संसाधन की कोई कमी नहीं है उनके द्वारा लापरवाही गंभीर बात है। नगर निगम क्षेत्र के पाटलिपुत्र अंचल में कई ऐसी सड़कें भी मिलीं जिनका निर्माण कार्य हुए 15 दिन हुए थे और इसकी खुदाई कर दी गई। अधिकारियों का कहना है कि निर्माण कार्य करने वाले अधिकारी और खुदाई करने वाली एजेंसी के पदाधिकारी के बीच सामंजस्य नहीं होने के कारण ऐसा हुआ है। सड़क निर्माण के पहले यदि सीवर पाइपलाइन डाल दिया जाता तो सड़क की खुदाई करने की नौबत नहीं आती। नई सड़कें भी जर्जर हो गईं है। अब ऐसी सड़कों का फिर से मरम्मत करना अनिवार्य हो गया है।