



पटना से एक प्रतिनिधि की रिपोर्ट :
पटना पहुंची मेट्रो की तीन कोच, यहां रखा गया है रैक, 15 अगस्त से होगा परिचालन, 900 यात्री कर सकेंगे सफर
न्यूज़ डेस्क, राजधानी खबर
एक प्रतिनिधि
– अमिट लेख
पटना, (ए.एल.न्यूज़)। मेट्रो रेल परियोजना से लेकर बड़ी खबर सामने आ रही है। । मेट्रो के पहले तीन कोच राजधानी पटना पहुंच चुके हैं। ये कोच पुणे से विशेष 74 चक्कों वाले भारी ट्रकों पर लादकर सड़क मार्ग से लाए गए। लगभग नौ दिनों की यात्रा के बाद ये कोच पटना पहुंचे हैं और फिलहाल इन्हें आईएसबीटी डिपो में रखा गया है। जहां जल्द ही अनलोडिंग और असेम्बलिंग की प्रक्रिया शुरू होगी। कोचों को आईएसबीटी से मलाही पकड़ी तक ट्रायल के लिए तैयार किया जा रहा है। ट्रायल रन के दौरान तकनीकी जांच और विभिन्न परीक्षण किए जाएंगे ताकि संभावित खामियों को समय रहते दूर किया जा सके। पटना मेट्रो परियोजना से जुड़े अधिकारियों का लक्ष्य है कि अगस्त के पहले सप्ताह तक ट्रायल पूरा कर लिया जाए, ताकि 15 अगस्त को मेट्रो सेवा का उद्घाटन किया जा सके। इन तीनों कोच की कुल यात्री क्षमता लगभग 900 है। जिसमें बैठने और खड़े होकर यात्रा करने की पर्याप्त व्यवस्था है। कोचों को जिस ट्रक से लाया गया। उसकी अधिकतम गति 20 किमी प्रतिघंटा निर्धारित की गई थी। ट्रक पटना तक गया-डोभी मार्ग होते हुए राजधानी में दाखिल हुए। पटना मेट्रो का प्राथमिक कॉरिडोर लगभग 6.1 किलोमीटर लंबा है। जो बैरिया स्थित आईएसबीटी से शुरू होकर मलाही पकड़ी तक फैला है। इस रूट पर कुल पांच स्टेशन हैं आईएसबीटी, जीरोमाइल, भूतनाथ, खेमनीचक और मलाही पकड़ी। हालांकि फिलहाल खेमनीचक स्टेशन पूरी तरह तैयार नहीं हुआ है। इसलिए ट्रायल रन के दौरान इस स्टेशन को बाइपास किया जा सकता है। पटना मेट्रो रेल कॉरिडोर पर मेट्रो सेवा की शुरुआत स्वतंत्रता दिवस के दिन 15 अगस्त से किए जाने की योजना है। इसके लिए सभी तैयारियां तेज़ी से अंतिम चरण में पहुंच चुकी हैं। मेट्रो सेवा शुरू होने के बाद राजधानीवासियों को एक नया और आधुनिक सार्वजनिक परिवहन विकल्प मिलेगा। जिससे यात्रा सुगम और समय की बचत संभव होगी। पटना मेट्रो के अधिकारियों के मुताबिक 0 से 3 किमी तक 15 रुपए तो 3 से 6 किमी तक का किराया 30 रुपए होगा। रेडलाइन की पहली फेज की लंबाई करीब 6.50 किमी है। यानी मलाही पकड़ी से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल तक सफर करने पर यात्रियों को 30 रुपए किराया देना होगा। मेट्रो प्रबंधन ने स्पष्ट किया कि यह किराया तभी स्थिर रह पाएगा जब मेट्रो को बिजली नो प्रॉफिट-नो लॉस आधार पर दी जाएगी। हाल में बिहार विद्युत विनियामक आयोग में मेट्रो प्रबंधन ने रेलवे की दर पर सस्ती बिजली देने की मांग की थी। इससे किराया नियंत्रित रह सकेगा और अन्य सार्वजनिक परिवहन की तुलना में कम रहेगा। मेट्रो अधिकारियों ने कहा कि पटना मेट्रो का संचालन सुबह 5 बजे से रात 11 बजे तक होगा। उन्होंने कहा कि रेलवे से मेट्रो की तुलना नहीं की जा सकती, क्योंकि रेलवे 24 घंटे चलती है और मालगाड़ियां भी चलती हैं जिससे उसे लाभ होता है। जबकि मेट्रो पूरी तरह यात्री सेवा के लिए है। अधिकारियों के मुताबिक पटना मेट्रो से यात्री तेज, सुरक्षित और समयबद्ध यात्रा कर सकेंगे। इससे जाम से भी मुक्ति मिलेगी और लोग शहर में लग्जरी यात्रा का आनंद उठा सकेंगे।