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Post: निजी क्लीनिकों की लूट परंपरा से आहत मरीज आने लगे कोलकत्ता

निजी क्लीनिकों की लूट परंपरा से आहत मरीज आने लगे कोलकत्ता

राजेंद्र नगर में निजी क्लीनिक ऑपरेशन के लिए मांग रहा था लाख रुपये तो आए मेडिकल कॉलेज कोलकाता

-सत्तर हज़ार रुपए में नहीं तैयार हुआ था चिकित्सक

परिजन को लग रहा था कि नहीं होगा समुचित इलाज यहां आने के बाद बेहतर इलाज का शुरू हुआ प्रक्रिया

-बिहार के नेता स्वर्गीय रामविलास पासवान, लालू प्रसाद यादव नीतीश कुमार के सहयोग से सरकार बनती थी और गिरती थी बावजूद बिहार का विकास नहीं हुआ

कोलकाता पहुंचे मुंगेर ब्यूरो निरंजन कुमार की रिपोर्ट :

–  अमिट लेख

मुंगेर, (जिला ब्यूरो)। बिहार के झाझा शेर निवासी भरत दास कोलकाता मेडिकल कॉलेज पहुंचकर राहत का सांस लिया। भरत बताता है कि उसकी पत्नी सोनम को नाक के अंदर मांस बढ़ गया। जैसा बीमारी था इलाज के लिए राजधानी राजेंद्र नगर स्थित एक निजी क्लीनिक पहुंचा तो लगभग पचीस हज़ार के विभिन्न जांच के बाद चिकित्सक ने उन्हें बताया सोनम के ऑपरेशन में एक लाख रुपए खर्च है। इसके नाक के अंदर मांस है, जिसको काटकर हटाना होगा। भरत दास बताते हैं कि उन्होंने चिकित्सकों कहा कि हम मजदूर वर्ग के लोग हैं। बेंगलुरु में मजदूरी करते हैं सत्तर हज़ार रुपए लेकर ऑपरेशन कर दीजिए। चिकित्सक ने उसकी बात नहीं मानी तो भरत को उनके संबंधी ने मेडिकल कॉलेज आने का सलाह दिया। शनिवार को सोनम का छोटा ऑपरेशन के दौरान उनका नाक का मांस को काटकर जांच के लिए भेज दिया गया है और भरत को बताया गया है कि जांच उपरांत उसकी पत्नी का ऑपरेशन होगा। चिकित्सक ने कहा कि नाक के अंदर मांस बढ़ कर दिमाग तक पहुंच गया है। इसलिए जांच रिपोर्ट आने के बाद सावधानीपूर्वक इसका ऑपरेशन होगा। इस प्रक्रिया के बाद भरत के परिजन को अब महसूस होने लगा कि सोनम का समुचित और बेहतर इलाज मेडिकल कॉलेज में होगा। बताया कि यहां आने के बाद परेशानियां बढ़ी, बहुत परेशान रहे, सोनम के इलाज के दौरान। लेकिन अब उन्होंने महसूस किया कि यह परेशानियां मरीज के बेहतर इलाज के लिए कारगर सिद्ध हुआ। भरत ने कहा कि गंभीर बीमारी से ग्रसित लोगों को इधर उधर ना भटक कर एक बार मेडिकल कॉलेज अवश्य आना चाहिए। इससे उनका आर्थिक दोहन नहीं होगा और उनका समय भी बचेगा। मरीज का बेहतर से बेहतर इलाज होगा। मालूम हो कि बिहार से बंगाल का विभाजन हुआ था। आज बंगाल के लोग खुशनसीब हैं कि उन्हें मेडिकल कॉलेज जैसा संसाधन मिला है। जहां बेहतर से बेहतर सुविधा के कारण गंभीर मरीजों का इलाज हो जाता है बिना आर्थिक दोहन के वहीं, बिहार में निजी चिकित्सकों द्वारा मरीजों का दोहन होने का सिलसिला आए दिन बढ़ते जा रहा है। बिहार के नेता स्वर्गीय रामविलास पासवान, लालू प्रसाद यादव नीतीश कुमार के सहयोग से सरकार बनती थी और गिरती थी। बावजूद बिहार का विकास नहीं हुआ, घोटाला पुल गिरने में बिहार इतिहास रचा। संसाधन का अभाव जिसके कारण यहां की जनता को इलाज के नाम पर लूट रहे हैं जबकि बंगाल आज बहुत आगे बढ़ गया है।

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