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Post: कह देने से नहीं होगा पूरा सपना पूरा करने के लिए निकलना होगा सपना से बाहर

कह देने से नहीं होगा पूरा सपना पूरा करने के लिए निकलना होगा सपना से बाहर

सत्रह सीटों पर जेडीयू के दावे पर माले ने मोर्चा खोला

न्यूज़ डेस्क,पटना  

दिवाकर पाण्डेय

अमिट लेख

पटना (विशेष ब्यूरो) : लोक सभा चुनाव 2024 में अब कुछ ही दिन बचे है। इंडिया गठबंधन में सीट शेयरिंग का फार्मूला अभी तक तय नहीं हो पाया है। इस बीच भाकपा माले ने नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के 17 सीटों की मांग का खुलकर विरोध किया है। पार्टी के विधायक रामबली सिंह यादव ने कहा है कि वह समय और था जब जब जदयू के 16 लोकसभा सांसद बने। अब परिस्थितियां बदल गई हैं। जदयू अपने सपने से बाहर निकले तभी भारतीय जनता पार्टी को हराने का सपना पूरा हो पाएगा। जेडीयू ने बिहार की उन सभी सीटों पर अपना दावा ठोक दिया है जहां 2019 में पार्टी के उम्मीदवारों ने जीत दर्ज किया था। इसके अलावे दूसरे स्थान पर रहने वाली एक सीट पर अपनी पार्टी के प्रत्याशी को लड़ाने का फैसला सुना दिया है। पटना में भाकपा माले विधायक रामबली सिंह यादव ने कहा कि 17 सीट कह देने से ही नहीं होगा ना। जेडीयू के 16 सांसद तब बने जब नीतीश कुमार एनडीए में थे। अब आप आज भी इस सपने में गुम रहेंगे तो वह भारतीय जनता पार्टी को सत्ता से बाहर करने के संकल्प के अनुकूल नहीं होगा। माले विधायक ने कहा कि जब उनके साथ भारतीय जनता पार्टी और लोजपा थी तो 17 सीटों पर चुनाव लड़कर 16 सीट जीत लिए। अभी तक अगर उसी सपने में खोए हुए रहेंगे तो ठीक नहीं होगा। इसलिए 17 सीटों पर उनका दावा सही नहीं है। दरअसल रामबली यादव ने जदयू को 2014 की याद दिलाई जब एनडीए से अलग होने के बाद उनके मात्र दो उम्मीदवार लोकसभा में पहुंचे। 2019 के चुनाव में जब भारतीय जनता पार्टी के साथ नीतीश कुमार चले गए तो जदयू के 16 नेता जीतकर सांसद बन गए। इससे जनता दल यूनाइटेड की अपनी ताकत का पता चलता है। इस बार इंडिया गठबंधन में बिहार से कांग्रेस,आरजेडी के अलावा तीन लेफ्ट पार्टियों हैं और सबों को उचित जगह देना है। पिछले दिनों भाकपा माले ने लालू यादव से मिलकर पांच लोकसभा सीटों की मांग की थी। इधर जदयू के मुख्य प्रवक्ता केसी त्यागी ने एक बार फिर 2024 में 17 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का अपना दावा दोहराया है। दिल्ली में उन्होंने कहा है कि सीटों को लेकर अंडरस्टैंडिंग क्लियर है। राजद के साथ कांग्रेस और लेफ्ट पार्टियों का तालमेल है। जेडीयू अपनी जीती हुई सीटें नहीं छोड़ सकती। मंत्री संजय झा, ललन सिंह समेत कई जदयू नेता पार्टी का स्टैंड क्लियर कर चुके हैं कि उनका गठबंधन आरजेडी से है। कांग्रेस और वाम दल राजद के साथ हैं।

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