हमारे उप-संपादक मोहन सिंह की कलम से :
संयुक्त किसान मोर्चा वो केन्द्रीय ट्रेड यूनियनों के अह्वान पर जिला समाहर्ता के समक्ष एक दिवसीय धरना दिया गया
न्यूज़ डेस्क, जिला पश्चिम चम्पारण
– अमिट लेख
बेतिया, (मोहन सिंह)। आज संयुक्त किसान मोर्चा वो केन्द्रीय ट्रेड यूनियनों के अह्वान पर जिला समाहर्ता के समक्ष एक दिवसीय धरना दिया गया। भारत सरकार की मजदूर, किसान, गरीब विरोधी नीतियों के चलते गरीबी भयानक रूप से बढ़ी है। भारतीय अर्थव्यवस्था लगातार चरमराती जा रही है। देश के औद्योगिक आधार लगातार खिसकते जा रहे हैं । मोदी सरकार की कारपोरेट घरानों को बढ़ावा देने के चलते आम लोगों पर आर्थिक बोझ बढ़ रहा है। एक ओर बड़े कार्पोरेट वर्ग की संपत्ति और आय में अभूतपूर्व वृद्धि तो दूसरी ओर मेहनतकशों की बड़ी संख्या दरिद्रता की ओर बढ़ रही है। भारत भूख, गरीबी, महिला सुरक्षा, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, मानवाधिकार आदि सभी सूचकांकों में नीचे गिर रहा है। बच्चों को नौकरिया नहीं मिल रही है। यहां तक कि सरकारी रिक्तियों को भी नहीं भरी जा रही हैं। कई सार्वजनिक उपक्रम बंद हो गए। निजी कार्पोरेट घरानों को बेचा जा रहा है। नतीजतन कई हजार कर्मचारी रोजगार से बाहर हो गए। संविदा कर्मी छूटने और छंटनी के प्रमुख शिकार बन गया है। कोविड के बहाने रेलवे ने वरिष्ठ नागरिकों, महिलाएं, दिव्यांग खिलाड़ियों को दी जाने वाली रियायतें वापस ले ली है। देश के श्रम बाजार में अनौपचारिकता बढ़ती जा रही है। देश में लाखों की संख्या में महिलाएं विभिन्न स्कीमों आशा, आंगनवाड़ी और मिड डे मील में कार्यरत हैं। उन्हें नियमित नहीं किया जा रहा है। वहीं देश के संघीय ढांचे पर लगातार हमले बढ़ रहे हैं। मजदूरों, किसानों और आम लोगों को ज्वलंत मुद्दों से भटकाने के लिए साम्प्रदायिक ध्रुवीकरण किया जा रहा है। आज के धरना में किसान नेता मानती राम, किसान सभा राज्य कार्यकारिणी सदस्य चांदसी प्रसाद यादव, ऐटक राज्य नेता ओमप्रकाश क्रांति,सी आईं टी यू राज्य कमेटी सदस्य नीरज बरनवाल,सी आई टी यू महासचिव शंकर कुमार राव, खेतिहर मजदूर यूनियन के जिला मंत्री प्रभुनाथ गुप्ता,सी टू से सम्बद्ध तांगा चालक के अध्यक्ष प्रकाश कुमार वर्मा,ई रिक्शा चालक के संयोजक म॰ हनीफ, कांग्रेस किसान के आदित्य कुमार, किसान सभा के अध्यक्ष अशोक मिश्रा, सचिव राधामोहन यादव, योगेन्द्र शर्मा, जयंत कुमार दिवेदी, सुबोध मुखिया, चन्द्रिका प्रसाद के साथ और भी किसान मजदूर साथी मौजूद थे।