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Post: रैयती किसानों का अनिश्चित कालीन धरना

रैयती किसानों का अनिश्चित कालीन धरना

हमारे जिला ब्यूरो संतोष कुमार की रिपोर्ट :

कांग्रेस के अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ बिहार प्रदेश अध्यक्ष मिन्नत रहमानी भी रहे मौजूद

न्यूज़ डेस्क, जिला सुपौल

संतोष कुमार

– अमिट लेख

सुपौल, (ब्यूरो रिपोर्ट)। जिले के त्रिवेणीगंज अनुमंडल मुख्यालय स्थित पशु अस्पताल परिसर में रैयती किसानों का अनिश्चित कालीन धरना बुधवार को पन्द्रह वां दिन भी जारी है। अनिश्चित कालीन धरना की अध्यक्षता कॉ. जयनारायण यादव ने की।

फोटो : संतोष कुमार

उन्होंने, जानकारी देते हुए बताया कि किसान संयुक्त संघर्ष सम्वन समिति एवं सभी ट्रेड यूनियन की ओर से रैयती किसानों ने संबोधित करते हुए कहा है कि सरकार के पदाधिकारी द्वारा हमारे खेत को जबरदस्ती हड़पा जा रहा है। कांग्रेस के अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ के बिहार प्रदेश अध्यक्ष मिन्नत रहमानी ने बैठक को संबोधन करते हुए कहा कि इस सरकार में आपकी आवाज को दबाया जा रहा है। मैं उनकी निंदा करता हुं। किसी भी किसान का जमीन बिना किसान के सहमति के बिना नहीं ले सकते हैं किसान की अगर सहमति है तो सरकार को जमीन के बदले मुआवजा तो देना ही है साथ ही हर किसान के घर से एक सरकारी नौकरी भी देना है इतना ही नहीं सरकार के द्वारा अधिकरण किया हुआ जमीन का सारा मुआवजा भुगतान करने के बाद अलग से सरकार को पांच लाख भी देने का प्रावधान है। यह हम नहीं कहते हैं यह पार्लियामेंट में पारित आदेश कहता है। जमीन अधिग्रहण कानून सरकार का बनाया हुआ वर्ष 2013 में पारित किया गया है। सरकार की जो मानसिकता है। पूंजी पती वालों को बढ़ावा देना यह सरकार पूंजी पती वाला का ही सुनती है। सारे सामान का कीमत बढ़ाने में 70 साल लग गए वर्ष 2013 तक में वर्ष 2013 में गैस का दाम 450 रुपया हुआ रेलवे स्टेशन का टिकट चीनी ₹30 सरसों तेल₹70 और आज 10 वर्षों में सभी सामान का कीमत तीन गुना चार गुना की बढ़ोतरी में बिक्री होती है। इस सरकार की मानसिकता पूंजी पत्ती वालों को बढ़ावा देना है। सरकार के द्वारा खास जमीन को भी हड़पने का काम किया है। लातौना मौजा में 34 एकड़ जमीन में 31 एकड़ जमीन में लगे गेहूं के फसल को रेलवे के द्वारा जोत दिया गया। जब की एक किसान को गेहूं के खेती करने में खाद से बीज तक कितना लागत लगता है वह किसान ही जानता है। जब तक किसानों की समस्या का हल नहीं हो जाता तब तक हम लोग अनवरत धरना पर बैठे रहूंगा और इस धरना के कार्यक्रम के माध्यम से बहुत बड़ी लड़ाई लड़ने की जरूरत है। क्योंकि संविधान खतरे में है। वही राजद नेता नीतीश यादव ने बोला यह प्रशासन की हिटलर शाही से 95 किसान भूमिहीन हो गए हैं जबरन गेहूं लगे खेत को जोड़ दिया गया है। कापलेश्वर यादव, कांग्रेस नेता शत्रुघ्न चौधरी, बभनगामा के पूर्व मुखिया मोहम्मद सदीक बौद्धि यादव, वार्ड पार्षद विवेक राज चौधरी वेश्य समाज के जिला महामंत्री कन्हैया कुमार चौधरी, सचिव धर्मेंद्र कुमार चौधरी उर्फ पप्पू, चंदन यादव, सुबोध चौधरी, अच्छेलाल मेहता, परमानंद यादव, श्रवण यादव, रामदेव यादव मोहम्मद मुस्लिम, आदि मौजूद थे।

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