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Post: कोट माई स्थान में बहत्तर घंटे से चल रहा अष्टयाम गुरुवार की शाम पूर्णाहुति हुई

कोट माई स्थान में बहत्तर घंटे से चल रहा अष्टयाम गुरुवार की शाम पूर्णाहुति हुई

जिला ब्यूरो नसीम खान “क्या” की रिपोर्ट :

कोट माई स्थान में बहत्तर घंटे से चल रहा अष्टयाम गुरुवार की शाम पूर्णाहुति हुई

न्यूज डेस्क, बगहा पुलिस जिला

नसीम खान “क्या”

अमिट लेख 

बगहा ( ब्यूरो डेस्क )। आदिवासी थारू बहुल्य क्षेत्र स्थित वीटीआर जंगल के बीचों बीच प्रकृति के गोद मे कोट माई स्थान पर पिछले 72 घंटे से चल रहे अष्टयाम का गुरुवार की शाम पूर्णाहुति हुई। इस अष्टयाम में दूर दूर से श्रद्धालु पहुंचे । पूर्व मुखिया पति राजलाल महतो ने बताया की खेतिहर किसान खेतों से फ्री होकर अप्रैल से जून माह के बीच कोट माई स्थान में अष्टयाम का आयोजन हर वर्ष करते हैं।यह आयोजन आदि काल से चला आ रहा है। बतादें की प्रकृति के गर्भ में बसे कोट माई स्थान सभी देवी देवताओं का दरबार स्थान है।

कोट माई स्थान में बहत्तर घंटे से चल रहा अष्टयाम गुरुवार की शाम पूर्णाहुति हुई

रविवार को नारायणी गंडक नदी के त्रिवेणी तट स्थित काली घाट से मंत्रोउच्चारण के बीच 251 कन्याओं के द्वारा जलबोझी कर कलश स्थापना कर अष्टयाम का शुभारंभ किया गया । बतादें की समिति द्वारा अष्टयाम 48 घंटो के आयोजन में फ़ेरबदल कर 72 घंटे का कर दिया गया। समिति में सम्मानित मुखिया पति राजलाल महतो,समिति अध्यक्ष जितेंद्र यादव,उपाध्यक्ष सुदर्शन यादव,सचिव नागेंद्र साह,उप सचिव रमेश चौधरी,सदस्य रुदल यादव समेत बड़ी संख्या में श्रद्धालुगण उपस्थित रहे। बतातें चलें कि 72 घंटे तक चले अष्टयाम के दौरान भंडारे का आयोजन किया जाता रहा। रामनाम संकीर्तन से पूरा वातावरण राममय हो चला और श्रद्धालु भक्तिरस में सराबोर होते रहे।

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