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Post: भू-माफियाओं का आतंक: चकिया चीनी मिल की ‘बेशकीमती’ जमीन कैसे बचेगी ?

भू-माफियाओं का आतंक: चकिया चीनी मिल की ‘बेशकीमती’ जमीन कैसे बचेगी ?

विशेष ब्यूरो सुशांत सिंह की रिपोर्ट :

पिछले 27 वर्षो से बंद पड़ा है, चीनी मिल

न्यूज़ डेस्क, जिला पूर्वी चम्पारण

सुशांत सिंह
– अमिट लेख
मोतिहारी, (ए.एल.न्यूज़)। बिहार में कहने को सुशासन का राज है। लेकिन इस राज में भू-माफिया-बालू माफिया और शराब माफियाओं से सरकार परेशान है। यूं कहें कि लाख कोशिश के बाद भी इन तीनों का आतंक कमने का नाम नहीं ले रहा।

फोटो : सुशांत सिंह

पुलिस-प्रशासन की तरफ से भी परोक्ष-अपरोक्ष रूप से माफियाओं को संरक्षण मिलता है। तभी तो मनोबल सिर चढ़कर बोल रहा। भू-माफिया खुल्लम-खुल्ला वैसी जमीन पर कब्जा कर लेते हैं जिस पर धारा-144 लगाई हो। चकिया चीनी मिल की कुछ जमीन पर ऐसी ही हुआ है। चीनी मिल की बेशकीमती जमीन पर हक को लेकर मोतिहारी डीएम ने भू-राजस्व विभाग से मार्गदर्शन को लेकर पत्र लिखा। साथ ही उसी दिन चकिया एसडीओ को भी पत्र लिखकर चकिया चीनी मिल की जमीन की पैमाईश करने को कहा था।

डीएम ने एक ही दिन विभाग और एसडीओ को लिखा पत्र :

डीएम ने विभाग को लिखे पत्र में कहा कि शुगर फैक्ट्री के ऑक्शन परचेजर विष्णु कांत गुप्ता का दावा है कि खेसरा संख्या-4511 का 38.13 एकड़ भूमि विवाद में अपर समाहर्ता के द्वारा सत्यापन के बाद भू-धारी अर्थात चंपारण शुगर फैक्ट्री चकिया की धारित भूमि करार दिया गया था। जबकि द्वितीय पक्ष यानी हथुआ स्टेट के प्रतिनिधि दावा करते हैं कि उक्त खेसरा का 28 बीघा 8 कट्ठा 19 धूर का निबंधन बैनामा हथुआ राज के द्वारा चंपारण शुगर फैक्ट्री को वर्ष 1956 में किया गया था। दोनों पक्षों के द्वारा एक ही खेसरा संख्या-4511 पर अलग-अलग दावा किया जा रहा है।

जिसके कारण विधि व्यवस्था की समस्या उत्पन्न हो रही है। लिहाजा इन तथ्यों के आलोक में भूमि विवाद के विधि सम्मत निराकरण के लिए मार्गदर्शन दें। उसी दिन मोतिहारी के डीएम ने चकिया अनुमंडल के एसडीओ डीसीएलआर और एसडीपीओ को पत्र लिखा। पत्र में कहा गया कि चकिया अंचल और अंतर्गत मौजा बरमदिया के खाता संख्या-3 खेसरा संख्या-4511 का 38.13 एकड़ जमीन की पैमाइश कराएं। पत्र में कहा गया की प्रश्न गत भूमि का सीमांकन कराकर वस्तु स्थिति की जानकारी लेना आवश्यक है। ऐसे में निर्देश है कि अंचल अमीन की टीम गठित कर इस भूमि के सीमांकन अपनी निगरानी में कराना सुनिश्चित करें और रिपोर्ट दें।

कटघरे में प्रशासन :

मोतिहारी के डीएम ने चकिया एसडीओ की जांच रिपोर्ट के बाद एक और जांच का आदेश जारी किया था। डीएम के पत्र में उल्लेख किया गया था कि वैद्यनाथ शुगर मिल के विष्णु कांत गुप्ता की तरफ से सूचित किया गया है कि चकिया अंचल के मौजा बरमदिया में खाता संख्या तीन खेसरा संख्या 4511 पर असामाजिक तत्वों द्वारा बलपूर्वक कब्जा कर घेराबंदी किया जा रहा है. उक्त भूमि पर भू हदबंदी विवाद चल रहा है. शिकायत के आलोक में भूमि सुधार उप समाहर्ता चकिया एवं अनुमंडल दंडाधिकारी से जांच कराया गया.जांच में यह उल्लेख किया गया है कि उक्त भूमि पर पिलरिंग एवं घेराबंदी का कार्य किया जा रहा है.जबकि पूर्व से उक्त विवादित भूमि पर रोक लगाया जा चुका है. साथ ही यह भी उल्लेख किया गया है कि विवादित भूमि पर अनुमंडल दंडाधिकारी चकिया के न्यायालय से धारा 144 लागू है. बताया जाता है कि चीनी मिल की बेशकीमती जमीन पर माफियाओं की नजर है। वे हर हाल में जमीन पर कब्जा करना चाहते हैं। बताया जाता है कि पटना का एक बड़ा माफिया पर्दे के पीछे से लगातार अधिकारियों पर दबाव भी बना रहा।

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