क्या है फरमान
न्यूज़ डेस्क,पटना
दिवाकर पाण्डेय
अमिट लेख
पटना (विशेष ब्यूरो) । बिहार के शिक्षा व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए विभाग के प्रमुख सचिव के के पाठक लगातार एक्शन में हैं। राज्य के विभिन्न जिलों में जाकर स्कूलों का निरीक्षण कर रहे हैं और आवश्यकता अनुसार नए-नए फरमान जारी कर रहे हैं। केके पाठक ने फिर एक नया आदेश सुनाया है जिससे शिक्षकों का टेंशन बढ़ सकता है। पाठक ने कहा है कि अब स्कूल आने भर से काम नहीं चलेगा। शिक्षकों ने अपने क्लास में क्या और कितना पढ़ाया , इसकी जांच भी की जाएगी। निर्धारित मानक नहीं होने पर कार्रवाई का चाबुक चलेगा। के के पाठक ने आदेश जारी किया है कि सुबह 9 बजे से शाम 5 बजे तक शिक्षक स्कूलों में रहेंगे और बच्चों को पढ़ाएंगे। छात्र-छात्राओं की क्लास 3:30 बजे तक चलेगी। उसके बाद विद्यालय के कमजोर बच्चों को स्पेशल ट्यूशन देकर उन्हें ठीक किया जाएगा। इस गाइडलाइन का पालन हो रहा है कि नहीं, इसके लिए केके पाठक ने सभी जिलाधिकारी को पत्र भेज कर नियमित मॉनिटरिंग करने का आदेश दिया है। सर्दी के मौसम को देखते हुए पाठक का यह नया फरमान शिक्षकों के साथ छात्रों पर भी भारी पड़ने वाला है। बच्चे सुवह 9 बजे से शाम पांच बजे तक विद्यालय में रहेंगे या नहीं यह बड़ा सवाल होगा। इसके पहले पाठक में शिक्षकों को छुट्टी के लिए व्हाट्सएप की सुविधा से वंचित करने का फरमान जारी कर टेंशन बढ़ा दिया था। शिक्षक आकस्मिक अवकाश के लिए भी व्हाट्सएप पर छुट्टी का आवेदन नहीं दे सकते हैं। पाठक के आदेश अनुसार शिक्षकों को मीडिया में बयान देने और शिक्षा व्यवस्था के बारे में सोशल मीडिया पर कोई पोस्ट डालने से भी मना कर दिया है। शिक्षा विभाग की ओर से फरमान जारी जा चुका है कि शिक्षकों को उनके स्कूल के 15 किलोमीटर के दायरे में ही रहना होगा। जो शिक्षक ऐसा नहीं करेंगे उनकी सैलरी रोक दी जाएगी। बीमार होने पर भी उन्हें छुट्टी के लिए खुद स्कूल जाना पड़ेगा।